दिल्ली में भाजपा नहीं बनाएगी सरकार, अब आप का इन्तजार
नई दिल्ली। देश की राजधानी दिल्ली में सरकार बनाने को लेकर उपजे संकट के चलते भारतीय जनता पार्टी ने दिल्ली के उप राज्यपाल को साफ कर दिया है...
दिल्ली के उप राज्यपाल नजीब जंग से मुलाकात करने के बाद भाजपा विधायक दल के नवनिर्वाचित नेता हर्षवर्धन ने गुरुवार को कहा कि वे विपक्ष में बैठकर जनता की सेवा करना पसंद करेंगे। भाजपा के अपने रुख को स्पष्ट करने के बाद दिल्ली में नए सिरे से विधानसभा चुनाव कराए जाने के आसार बन गए हैं।
गौरतलब है कि राज्य में 28 सीटों के साथ दूसरी नंबर की पार्टी रही आम आदमी पार्टी (आप) ने पहले ही स्पष्ट कर दिया है कि वह न तो किसी अन्य पार्टी को समर्थन देगी और न ही किसी से समर्थन लेगी। मीडिया से बाद करते हुए हर्षवर्धन ने कहा, "सबसे बड़ी पार्टी होने के नाते उप राज्यपाल ने हमें सरकार गठन के बारे में चर्चा के लिए आमंत्रित किया था, लेकिन हमारे पास 32 विधायक हैं और सरकार बनाने के लिए आवश्यक 36 से 4 विधायक कम होने के कारण हम सरकार नहीं बना सकते।"
उन्होंने कहा, "हमारे पास बहुमत से चार विधायक कम हैं, हम अपने फैसले के लिए लोगों से माफी मांगते हैं।" हर्षवर्धन ने कहा कि सरकार बनाने में असमर्थ रहने के कारण नए सिरे से चुनाव होने लिए भाजपा को जिम्मेवार नहीं ठहराया जा सकता। उन्होंने कहा कि उप राज्यपाल के पास एक सप्ताह के भीतर सरकार बनाने की संभावना तलाशने का समय है और उनकी पार्टी भाजपा दूसरे चुनाव के लिए तैयार है।
भाजपा के इनकार के बाद उप-राज्यपाल ने आम आदमी पार्टी (आप) संयोजक अरविंद केजरीवाल को शनिवार को चर्चा करने के लिए बुलाया है लेकिन चूंकि उनके पास भी बहुमत नहीं है, इस लिहाज से ऐसा माना जा रहा है कि वे भी सरकार बनाने में असमर्थता जता देंगे। ऐसी स्थिति में दिल्ली में या तो राष्ट्रपति शासन लागू होगा या फिर राज्य में नए सिरे से चुनाव कराए जा सकते हैं।