बाल विवाह ना करेंगे, ना होने देंगे का दिलाया सामूहिक संकल्प
कोटा । ( बूंदी ) राजस्थान सरकार की महिला एवं बाल विकास राज्यमंत्री अनिता भदेल ने जनप्रतिनिधियों, जिला प्रशासन, संबद्ध विभागों एवं विभिन्...
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कोटा । ( बूंदी ) राजस्थान सरकार की महिला एवं बाल विकास राज्यमंत्री अनिता भदेल ने जनप्रतिनिधियों, जिला प्रशासन, संबद्ध विभागों एवं विभिन्न संगठनों का आव्हान किया है कि वे बूंदी जिले को बाल विवाह मुक्त जिला बनाने के लिए प्रतिबद्ध हो जाएं। बाल विवाह ना करें, ना करने दें। व्यापक जन जागरुकता और सार्थक प्रयासों से ऐसे वातावरण का निर्माण करें कि एक भी गांव-ढाणी में बाल विवाह ना होने पाए, बल्कि बालक-बालिकाएं खुद बाल विवाह का प्रतिकार करने के लिए आगे आएं।
महिला एवं बाल विकास राज्यमंत्री बुधवार को बाल विवाह मुक्त राजस्थान के लिए शुुरू किए गए साझा अभियान के शुभारम्भ अवसर पर बूंदी शहर के हरियाली रिसोर्ट में आयोजित समारोह को सम्बोधित कर रही थीं। श्रीमती भदेल ने इस अवसर पर राजस्थान के संदर्भ में बाल विवाह की भयावह तस्वीर प्रस्तुत की और बताया कि चित्तौडगढ और भीलवाडा के बाद बाल विवाहों में बूंदी का नाम आता है। इसीलिए इस जिले में प्राथमिकता के साथ यह साझा अभियान शुरू किया गया है।
अभियान सबकी भागीदारी से गांव-गांव पहुंचेगा। महिला एवं बाल विकास राज्यमंत्री ने विश्वास व्यक्त किया कि सभी मिलकर गुंजाएंगे, तो निश्चय ही बूंदी जिला बाल विवाहों से मुक्त जिला बन सकेगा। इस अवसर पर श्रीमती भदेल ने उपस्थित जन समुदाय को बाल विवाह नहीं करने का और ना होने देने की शपथ दिलाई और जागरुकता रथ को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया।
समारोह में बूंदी विधायक अशोक डोगरा ने शपथ और संकल्प लेने के साथ ही विश्वास दिलाया कि हम सब मिल कर बाल विवाह की कुरीति को समूल नष्ट करेंगे। उन्होंने आव्हान किया कि जनप्रतिनिधि, अधिकारी सभी इस दिशा में प्रतिबद्धता के साथ कार्य करें। विद्यालयों में बाल विवाह के दुष्परिणामों से अवगत कराने के व्यापक स्तर पर प्रयास किए जाएं।
यूनीसेफ के राज्य समन्वयक सुनील थॉमस ने कहा कि सबकी भागीदारी से ही यह अभियान सफल हो सकेगा। महिला अधिकारिता विभाग की आयुक्त श्रीमती ऋचा खोडा ने बताया कि यूनीसेफ एवं यूएनएफपीए के सहयोग से सभी की सहभागिता वाला यह साझा अभियान दौसा जिले से प्रदेश में शुरू किया गया। बाल विवाहों की अधिकता वाले जिलों में यह चलाया जाएगा।
जिला कलक्टर नरेश कुमार ठकराल ने स्वागत भाषण में कहा कि बूंदी में शिक्षा के विस्तार के बावजूद बाल विवाहों का चलन गंभीर बात है। इस बुराई को जन जागरुकता से ही मिटाया जा सकता है। सख्त कानून तो है लेकिन जब तक इस बुराई के दुष्परिणाम मन को चोट नहीं करेंगे, तब तक इसका समूल नष्ट हो पाना कठिन है। पुलिस अधीक्षक सुनील कुमार विश्नोई ने कहा कि शिक्षा के साथ अधिकाधिक प्रचार प्रसार से इस बुराई पर विजय पा सकते हैं।
जोशीले गीत ने भरी उर्जा
समारोह में ख्यातिप्राप्त गायक कलाकार रवीन्द्र उपाध्याय, गीतांजलि एवं बूंदी की छात्रा विधि ने बाल विवाह नहीं होगा अब राजस्थान में....बोलों वाला सुरीला एवं जोषीला अभियान गीत गाकर राजस्थान को बाल विवाह मुक्त बनाने का विश्वास मजबूत किया। समारोह में साथिन, सहयोगिनी, किशोरी बालिका, विभागीय अधिकारियों एवं आमजन की हिस्सेदारी रही।
गांव-ढाणियों में जाएगा जागरुकता रथ
यूएनएफपीए की प्रतिनिधि दिव्या ने बताया कि साझा अभियान का यह जागरुकता रथ एवं टीम जिले की 74 ग्राम पंचायतों में जाकर विविध कार्यक्रमों के माध्यम से जागरुकता लाएगी। महिला अधिकारिता के कार्यक्रम अधिकारी युगल किशोर मीणा ने बताया कि जागरूकता रथ की तीस दिवस की कार्य योजना तैयार की गई है जिसमें यह विभिन्न क्षेत्रों में भ्रमण करेगा।
महिला एवं बाल विकास राज्यमंत्री बुधवार को बाल विवाह मुक्त राजस्थान के लिए शुुरू किए गए साझा अभियान के शुभारम्भ अवसर पर बूंदी शहर के हरियाली रिसोर्ट में आयोजित समारोह को सम्बोधित कर रही थीं। श्रीमती भदेल ने इस अवसर पर राजस्थान के संदर्भ में बाल विवाह की भयावह तस्वीर प्रस्तुत की और बताया कि चित्तौडगढ और भीलवाडा के बाद बाल विवाहों में बूंदी का नाम आता है। इसीलिए इस जिले में प्राथमिकता के साथ यह साझा अभियान शुरू किया गया है।
अभियान सबकी भागीदारी से गांव-गांव पहुंचेगा। महिला एवं बाल विकास राज्यमंत्री ने विश्वास व्यक्त किया कि सभी मिलकर गुंजाएंगे, तो निश्चय ही बूंदी जिला बाल विवाहों से मुक्त जिला बन सकेगा। इस अवसर पर श्रीमती भदेल ने उपस्थित जन समुदाय को बाल विवाह नहीं करने का और ना होने देने की शपथ दिलाई और जागरुकता रथ को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया।
समारोह में बूंदी विधायक अशोक डोगरा ने शपथ और संकल्प लेने के साथ ही विश्वास दिलाया कि हम सब मिल कर बाल विवाह की कुरीति को समूल नष्ट करेंगे। उन्होंने आव्हान किया कि जनप्रतिनिधि, अधिकारी सभी इस दिशा में प्रतिबद्धता के साथ कार्य करें। विद्यालयों में बाल विवाह के दुष्परिणामों से अवगत कराने के व्यापक स्तर पर प्रयास किए जाएं।
यूनीसेफ के राज्य समन्वयक सुनील थॉमस ने कहा कि सबकी भागीदारी से ही यह अभियान सफल हो सकेगा। महिला अधिकारिता विभाग की आयुक्त श्रीमती ऋचा खोडा ने बताया कि यूनीसेफ एवं यूएनएफपीए के सहयोग से सभी की सहभागिता वाला यह साझा अभियान दौसा जिले से प्रदेश में शुरू किया गया। बाल विवाहों की अधिकता वाले जिलों में यह चलाया जाएगा।
जिला कलक्टर नरेश कुमार ठकराल ने स्वागत भाषण में कहा कि बूंदी में शिक्षा के विस्तार के बावजूद बाल विवाहों का चलन गंभीर बात है। इस बुराई को जन जागरुकता से ही मिटाया जा सकता है। सख्त कानून तो है लेकिन जब तक इस बुराई के दुष्परिणाम मन को चोट नहीं करेंगे, तब तक इसका समूल नष्ट हो पाना कठिन है। पुलिस अधीक्षक सुनील कुमार विश्नोई ने कहा कि शिक्षा के साथ अधिकाधिक प्रचार प्रसार से इस बुराई पर विजय पा सकते हैं।
जोशीले गीत ने भरी उर्जा
समारोह में ख्यातिप्राप्त गायक कलाकार रवीन्द्र उपाध्याय, गीतांजलि एवं बूंदी की छात्रा विधि ने बाल विवाह नहीं होगा अब राजस्थान में....बोलों वाला सुरीला एवं जोषीला अभियान गीत गाकर राजस्थान को बाल विवाह मुक्त बनाने का विश्वास मजबूत किया। समारोह में साथिन, सहयोगिनी, किशोरी बालिका, विभागीय अधिकारियों एवं आमजन की हिस्सेदारी रही।
गांव-ढाणियों में जाएगा जागरुकता रथ
यूएनएफपीए की प्रतिनिधि दिव्या ने बताया कि साझा अभियान का यह जागरुकता रथ एवं टीम जिले की 74 ग्राम पंचायतों में जाकर विविध कार्यक्रमों के माध्यम से जागरुकता लाएगी। महिला अधिकारिता के कार्यक्रम अधिकारी युगल किशोर मीणा ने बताया कि जागरूकता रथ की तीस दिवस की कार्य योजना तैयार की गई है जिसमें यह विभिन्न क्षेत्रों में भ्रमण करेगा।