जेएनयू घटना के संबंध में निंदा प्रस्ताव पारित
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जयपुर। प्रदेश के निजी विश्वविद्यालयों ने राजधानी दिल्ली में जवाहरलाल नेहरू विश्वद्यिालय में देश विरोधी नारे लगाए जाने की घटना का पुरजोर विरोध किया है। शिक्षामंत्री कालीचरण सराफ की अध्यक्षता में निजी विश्वविद्यालयों के चेयरपर्सन्स के साथ आयोजित बैठक में निजी विश्वविद्यालयों ने इस सबंध में आज इस घटना के संबंध में एकस्वर में निंदा प्रस्ताव भी पारित किया।
वहीं शिक्षा मंत्री कालीचरण सराफ ने कहा है कि निजी विश्वविद्यालयों को स्वायत्ता की आड में स्वच्छंदता नहीं करने दी जाएगी। उन्होंने कहा कि निजी विश्वविद्यालयोें कि स्थापना प्रदेश में इसी उद्वेश्य से की गई थी कि उनकी सहभागिता से उच्च शिक्षा का गुणवत्ता के साथ प्रभावी प्रसार किया जा सके। उन्होंने निजी विश्वविद्यालयों को अपने यहां विद्यार्थियों के हित में विश्वविद्यालयों में शैक्षिक गुणवत्ता एवं उनकी बेहतरी के साथ कार्य करने पर भी जोर दिया।
सराफ ने कहा कि निजी विश्वविद्यालयों को विद्यार्थियों के हित में अपने यहां गुणवत्ता पूर्ण शिक्षा प्रदान करने के लिए कार्य करने पर भी जोर दिया। उन्होंने कहा कि इस संबंध में किसी भी विश्वविद्यालय के खिलाफ शैक्षिक स्तर से खिलवाड़ की शिकायत आती है, तो राज्य सरकार सख्त कार्यवाही करेगी।
बैठक में उच्च शिक्षा मंत्री ने निजी विश्वविद्यालयों द्वारा उठाये गये विभिन्न मुदों को सुना तथा कहा कि उनसे संबंधित विभिन्न समस्याओं के निराकरण के लिए 7 सदस्यीय कमेटी का गठन किया जाएगा।
काॅलेज शिक्षा आयुक्त की अधयक्षता में गठित कमेटी में निजी विश्वविद्यालयों के 5 प्रतिनिधियों को सम्मिलित किया जाएगा। कमेटी राज्य सरकार के स्तर पर विद्यार्थियों के हित में विश्वविद्यालयों से संबंधित समस्याओं के निराकरण के लिए सुझाव देगी।
वहीं शिक्षा मंत्री कालीचरण सराफ ने कहा है कि निजी विश्वविद्यालयों को स्वायत्ता की आड में स्वच्छंदता नहीं करने दी जाएगी। उन्होंने कहा कि निजी विश्वविद्यालयोें कि स्थापना प्रदेश में इसी उद्वेश्य से की गई थी कि उनकी सहभागिता से उच्च शिक्षा का गुणवत्ता के साथ प्रभावी प्रसार किया जा सके। उन्होंने निजी विश्वविद्यालयों को अपने यहां विद्यार्थियों के हित में विश्वविद्यालयों में शैक्षिक गुणवत्ता एवं उनकी बेहतरी के साथ कार्य करने पर भी जोर दिया।
सराफ ने कहा कि निजी विश्वविद्यालयों को विद्यार्थियों के हित में अपने यहां गुणवत्ता पूर्ण शिक्षा प्रदान करने के लिए कार्य करने पर भी जोर दिया। उन्होंने कहा कि इस संबंध में किसी भी विश्वविद्यालय के खिलाफ शैक्षिक स्तर से खिलवाड़ की शिकायत आती है, तो राज्य सरकार सख्त कार्यवाही करेगी।
बैठक में उच्च शिक्षा मंत्री ने निजी विश्वविद्यालयों द्वारा उठाये गये विभिन्न मुदों को सुना तथा कहा कि उनसे संबंधित विभिन्न समस्याओं के निराकरण के लिए 7 सदस्यीय कमेटी का गठन किया जाएगा।
काॅलेज शिक्षा आयुक्त की अधयक्षता में गठित कमेटी में निजी विश्वविद्यालयों के 5 प्रतिनिधियों को सम्मिलित किया जाएगा। कमेटी राज्य सरकार के स्तर पर विद्यार्थियों के हित में विश्वविद्यालयों से संबंधित समस्याओं के निराकरण के लिए सुझाव देगी।